**मेरे प्यारे साथियों** आज हम आपको छत्तीसगढ़ गोधन न्याय योजना (Godhan Nyay Yojana) के बारे में बतायेंगे। यह योजना छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने 25 जून 2020 को राज्य के पशुपालकों के लिए शुरु की है। छत्तीसगढ़ गोधन न्याय योजना 2020 में पशुपालको से पशुओ के गोबर की खरीद करने, पशुपालन को लाभकारी बनाने, खेतों में चरने की समस्या सुलझाने, किसानों की फसलों को नुकसान से बचाने, आवारा जानवरों के कारण सड़क दुर्घटनाएं आदि समस्याओं को हल करने के लिए शुरू की है।
छत्तीसगढ़ सरकार ने पशुपालन को बढ़ावा देने और इसे व्यावसायिक रूप से लाभदायक बनाने के लिए 25 जून 2020 को गोधन न्याय योजना शुरू की है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य पशुपालन को व्यावसायिक रूप से लाभदायक बनाना,और मवेशियों (आवारा) जानवरों के द्वारा खुले में चराई को रोकने व आवारा पशुओं के कारण होने वाली सड़क दुर्घटनाओं की समस्या का हल करने और पर्यावरण सरंक्षण है। छत्तीसगढ़ पशु मालिकों से गोबर खरीदने वाला पहला भारतीय राज्य बन गया है। यह गोधन न्याय योजना हरेली उत्सव के दिन से छत्तीसगढ़ राज्य में लागू की जाएगी।
इस नई योजना के माध्यम से पशुपालको के लिए पशुपालन और गाय-गोबर प्रबंधन अधिक लाभदायक हो गया है। इस गोबर खरीद योजना के कार्यान्वयन से रोजगार के अवसर पैदा होंगे और अतिरिक्त आय भी होगी। इस योजना में गाय के गोबर को निर्धारित दर पर ख़रीदा जाएगा और सहकारी समितियों से बरामद किया जाएगा। मंत्रिमंडल के तहत गठित 5 सदस्य उप-समिति गोधन की खरीद दर का निर्धारण करेगी। मुख्य सचिव की अध्यक्षता में सचिवों की समिति ने गौवध प्रबंधन की पूरी प्रक्रिया की अंतिम रूप दिया।
छत्तीसगढ़ गोधन न्याय योजना 2020 (Godhan Nyay Yojana)
गोधन न्याय योजना को शुरू किया गया है ताकि आवारा पशुओ की समस्या को ठीक किया जाए व किसानो और पशुपालको को लाभ प्राप्त हो सके। छत्तीसगढ़ में खुले में आवारा पशुओ को चराने की परंपरा है, जो किसानों की फसलों का काफी नुक्सान करती है। इसके अलावा शहरो की सड़को पर आवारा जानवर सड़क दुर्घटनाओ का प्रमुख कारण है। गाय और भेड़-बकरी के मालिक अपने जानवरों को खुले में छोड़ देते है जिससे कई प्रकार की समस्याएं होती है। पशुपालकों के आर्थिक हितों की रक्षा के लिए छत्तीसगढ़ राज्य सरकार ने गोधन न्याय योजना की शुरुआत करी है। इस आर्टिकल में हम आपको गोबर के खरीद की प्रक्रिया, गोधन न्याय योजना की आवश्यकता, खरीदी दर व पूरी जानकारी प्रदान करेंगे।
छत्तीसगढ़ में गोबर की खरीद कब शुरू होगी?
छत्तीसगढ़ राज्य सरकार हरेली महोत्सव से निर्धारित खरीद दर पर गोबर की खरीद शुरू करेगी। गोधन योजना के तहत छत्तीसगढ़ सरकार पशुधन मालिकों से एक निश्चित खरीद दर पर गाय के गोबर की खरीद करेगी।
गो-धन न्याय योजना किस तरह की समस्याओं को ठीक करेगी?
गोधन न्याय योजना के लागू होने से पशुपालक अपने मवेशियों को उचित चारा-पानी उपलब्ध कराएंगे और उन्हें अपने स्थान पर बांध कर रखेंगे। जिससे किसानों की मेहनत से उगाई फसल बचेगी, सड़क दुर्घटनाएं काम होंगी, पर्यावरण की रक्षा होगी, किसान के लिए गोबर बेचना आसान होगा, कमाई के साधन बढ़ेंगी व अन्य समस्याएं भी सुलझेंगी।
गाय के गोबर की खरीद दर कौन तय करेगा?
गोधन न्याय योजना के तहत गोबर की खरीद दर कैबिनेट की 5 सदस्यीय उप -समिति द्वारा तय की जाएगी। कैबिनेट उप -समिति की अध्यक्षता 8 दिनों के अंदर कृषि और जल संसाधन मंत्री रविंद्र चौबे करेंगे। इस समिति में वन मंत्री श्री मोहम्मद अकबर, सहकारिता मंत्री डॉ प्रेमसाई सिंह टेकाम, नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ शिव कुमार डहरिया, राजस्व मंत्री श्री जयसिंह अग्रवाल शामिल होंगे। पशुपालकों, किसानों, गौशाला संचालको और अन्य विशेषज्ञों से प्राप्त सुझावों पर विचार-विमर्श करने के बाद गोबर की खरीद दर तय की जाएगी।
राज्य सरकार ख़रीदे गए गोबर का क्या करेगी?
ख़रीदे गए गोबर का उपयोग कृमि खाद के उत्पादन के लिए किया जाएगा। यह पौधा सहकारी समितियों के माध्यम से किसानो की उर्वरक आवश्यकता के साथ-साथ कृषि, वन, बाग़वानी और शहरी प्रसासन विभाग द्वारा विभिन्न वृक्षारोपण अभियानों में सहायक होगा। इस योजना को लागू करने के लिए सीजी राज्य शहरी प्रसासन जिम्मेदार होगा। राज्य सरकार अतिरिक्त जैविक उर्वरक के विपणन के लिए अन्य व्यवस्था भी करेगी।
छत्तीसगढ़ गोधन न्याय योजना की पृष्टभूमि
पिछले 1.5 वर्षो में सीजी राज्य सरकार ने नरवा, गरुआ, घुरुआ योजना के माध्यम से ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए लगातार प्रयास किये है। गाँवो में पशुओ के सरंक्षण और पोषण के लिए गोशालाएँ बनाई जा रही है। अब तक राज्य सरकार ने 2200 गाँवो में गोशालाओ का निर्माण किया है और अगले 2 से 3 महीनों में लगभग 5,000 गाँवो को गोशाला सुविधाओं से रोजी-रोटी केंद्र के रूप में सुसज्जित किया जाएगा। यहां महिला स्वयं सहायता समूहों की मदद से एक बड़ी दर पर कृमि खाद बनाया जा रहा है।
यह गोधन न्याय योजना लंबे समय वाला प्रभाव लाभ करेगी और ग्रामीण अर्थव्यवस्था के साथ-साथ राज्य की अर्थव्यवस्था के लिए भी फायदेमंद साबित होगी। सीएम ने किसानों,पशुधन मालिकों और बुद्धिमान से राज्य में गौवंश की खरीद दर के बारे में सुझाव देने का आग्रह किया। यह योजना ग्रामीण क्षेत्रों में कामकाज पैदा करने में भी मदद करेगी। इस योजना के लागू होने पर पशुधन मालिक अपने चौपाया पशुओं को उचित चारा-पानी इक्कठा कराएंगे और फिर उनके स्थान पर बांध देंगे।
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